नई दिल्ली : UNGA : US के राष्ट्रपति Joe Biden ने आज 76वीं संयुक्त राष्ट्रसंघ महासभा को संबोधित किया है.
बतौर राष्ट्रपति यह उनका पहला संबोधन था और सबकी नजरें उन पर टिकी थीं.
जो बाइडेन ने न्यूयॉर्क में अपने पहले संबोधन में कहा कि अमेरिका की सैन्य शक्ति उसका अंतिम विकल्प होना चाहिए न कि पहला.
बाइडेन के मुताबिक हथियारों से कोविड-19 महामारी या उसके भविष्य के वरिएंट्स से बचाव नहीं किया जा सकता है,
बल्कि यह विज्ञान और राजनीति की सामूहिक इच्छाशक्ति से ही संभव है.
UNGA 2021 : बाइडेन ने किया 9/11 का जिक्र
राष्ट्रपति बाइडेन ने इस दौरान अमेरिका पर 20 साल पहले हुए 9/11 का जिक्र भी किया.
उन्होंने कहा कि अमेरिका अब हमले वाला देश नहीं है बल्कि जवाब देना भी जानाता है.
बाइडेन की मानें तो आज अमेरिका बेहतर तरीके से तैयार है
और उसे प्रोपगेंडा का मुकाबला करना भी काफी अच्छे से आता है.
46वें अमेरिकी राष्ट्रपति बाइडेन ने यहां पर दुनिया को याद दिलाया
कि अमेरिका आतंकवाद के खतरनाक डंक को भलीभांति जानता है.
अमेरिका ने काबुल एयरपोर्ट पर हुए आतंकी हमले में 13 अमेरिकी जवान खोए हैं
और अफगानिस्तान के भी कई लोग मारे गए.
बाइडेन ने चेतावनी भी दी है
कि जो लोग हमारे खिलाफ आतंकवादी कृत्य करते हैं,
वे अमेरिका में एक दृढ़ दुश्मन पाएंगे.
चीन के साथ बढ़ते तनाव के बीच जो बाइडन ने संयुक्त राष्ट्र से कहा कि अमेरिका एक नया शीत युद्ध नहीं शुरू करना चाहता.
ग्लोबल लीडर्स से की ये खास अपील
राष्ट्रपति बाइडेन ने अपनी पहली स्पीच में कहा कि आज देशों की आजादी, समृद्धशीलता
और आजादी पहले से कहीं ज्यादा आपस में जुड़ा हुआ है.
उन्होंने अफगानिस्तान से अमेरिकी सेनाओं की वापसी का भी बचाव किया.
अमेरिकी सेनाओं के कमांडर-इन-चीफ बाइडेन ने कहा कि अमेरिका इस समय अपने उन सभी संसाधनों को विकसित करने में जुटा है
जिसकी मदद से वो आने वाले समय में तमाम चुनौतियों से निपट सकेगा.
उनका कहना था कि ये वो चुनौतियां हैं जो भविष्य के लिए अहम हैं
न कि पिछले युद्धों के लिए लड़ना.
बाइडेन ने दुनियाभर के नेताओं को बताया कि महामारी, क्लाइमेट संकट, आतंकवाद
और शक्तियों में होने वाले बदलावों से निपटना अब मुख्य केंद्र बिंदु होना चाहिए.
कोविड से होने वाली मौतें दिल तोड़ने वाली
अमेरिकी राष्ट्रपति बाइडेन ने कहा कि इस वर्ष उंगा में सबकी मुलाकात ऐसे समय में हो रही है
जब लोग एक बड़ा दर्द झेल रहे है और असाधारण संभावनाओं के लिए भी तैयार हैं.
बाइडेन के शब्दों में, ‘हमने इस तबाह करने वाली महामारी में बहुत कुछ खो दिया है
जिसकी वजह से दुनियाभर में कई लोगों की जान गईं
और हमारे अस्तित्व पर भी बहुत असर पड़ा.
हम 45 लाख से भी ज्यादा लोगों, हर देश के और हर पृष्ठभूमि वाले लोगों की मृत्यु का शोक मना रहे हैं.
हर मौत दिल तोड़ने वाली है