Muzaffarpur shelter home rape case में 34 लड़कियों के साथ यौन शोषण की पुष्टि
पटना/नई दिल्ली:LNN: बिहार सरकार के अनुरोध पर Muzaffarpur shelter home rape case में सीबीआई ने केस दर्ज कर लिया है।
बालिका गृह में रह रही लड़कियों के शारीरिक, मानसिक और यौन शोषण का आरोप है मामले में बालिका गृह साहू रोड के अधिकारियों और कर्मचारियों को आरोपी बनाया गया है।
Muzaffarpur shelter home rape case मामले का खुलासा मई महीने में टाटा इंस्टिट्यूट ऑफ सोशल साइंसेज के सोशल ऑडिट के दौरान मामले का खुलासा हुआ था।
Muzaffarpur shelter home rape case मामले में शनिवार तक कुल 34 लड़कियों के साथ बालिका गृह में यौन शोषण की पुष्टि हुई है।
CBI has registered a case on the request of Bihar Govt & further notification from Govt of India and taken over the investigation case related to mental, physical & sexual exploitation of girl children residing at Children Home at Sahu Road, Muzaffarpur (Bihar).
— ANI (@ANI) July 29, 2018
पूर्व में Muzaffarpur shelter home rape case में 10 लोगों को गिरफ्तार किया गया था।
शेल्टर होम से लड़कियों के गायब होने का मामला भी सामने आया था, जिसके बाद विपक्षी नेताओं ने बिहार के सीएम नीतीश कुमार पर इस मामले के आरोपियों को संरक्षण देने का आरोप लगाया था।
इसके बाद बिहार सरकार ने अब Muzaffarpur shelter home rape case मामले की जांच सीबीआई को सौंप दी है।
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मामले की एफआईआर लिखे जाने के दो महीने बाद डॉक्टरों की एक टीम ने शेल्टर होम के एक कमरे की जांच की वहां इस्तेमाल कि गईं 63 दवाइयों और ड्रग्स के रैपर्स की एक लिस्ट बनाई है।
उन सभी का परीक्षण किया जाएगा। एक्सपर्ट्स ने शेल्टर होम से बच्चियों के कपड़े और एक कंप्यूटर भी बरामद किए हैं।
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मेडिकल जांच में कम से कम 34 बच्चों के साथ रेप की पुष्टि हुई है।
कुछ पीड़ितों ने कोर्ट को बताया कि उन्हें नशीले पदार्थ दिए जाते थे और मारा-पीटा जाता था बाद में रेप किया जाता था।
पीड़ित खुद को सुबह उठकर निर्वस्र पाते थे। एक नाबालिग बच्ची ने पुलिस को बताया कि उन्हें रात को खाने के बाद सफेद और गुलाबी गोलियां दी जाती थीं जिसे खाकर वह सो जाते थे।
मुजफ्फरपुर की एसएसपी हरप्रीत कौर ने बताया कि डॉक्टरों की टीम ने उस कमरे में रखी दवाओं की जांच की है जहां बच्चों का रूटीन चेकअप किया जाता था।
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एफआईआर के बाद इस कमरे में ताला लगा दिया गया था और इसकी जांच नहीं हुई थी।
बाकी कमरों से फरेंसिक एक्सपर्ट्स ने मौके पर सबूत इकट्ठे किए थे। शेल्टर होम की फाइलों की जांच होगी।
मुजफ्फरनगर जोनल आईजी सुनील कुमार और डीआईजी अनिल कुमार सिंह ने शनिवार को शेल्टर होम का दौरा किया।
आईजी ने बताया कि वहां कई फाइलें रखी हैं जिनकी जांच की जानी है। उन्होंने बताया कि इन फाइलों में वहां जाने वाले अधिकृत या अनाधिकृत लोगों के बारे में जानकारी हो सकती है।
उसमें शेल्टर होम के इंस्पेक्शन करने वाले लोगों के बारे में भी जानकारी हो सकती है। उन लोगों से पुलिस पूछताछ करेगी।
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